सीबीआई अदालत ने हत्या मामले में 14 लोगों को दोषी ठहराया, 30 जुलाई को सजा पर सुनवाई
अदालत ने आईपीसी की धारा 212 के तहत एक अपराधी को शरण देने के आरोप में सुमन पीएस और सीपीआई(एम) कोल्लम जिला समिति के सदस्य बाबू पणिक्कर को भी दोषी ठहराया, लेकिन उन्हें जमानत पर रिहा कर दिया गया है।
तिरुवनंतपुरम (आरएनआई) केवल में सीबीआई अदालत ने 2010 में कोल्लम के आंचल में एक आईएनटीयूसी नेता की उनके घर पर हत्या करने के मामले में 14 लोगों को दोषी ठहराया है। इन 14 लोगों में राज्य में सत्तारूढ़ सीपीआई (एम) के जिला स्तर के सदस्य भी शामिल है। सीबीआई की विशेष अदालत के न्यायाधीश राजीव केएस ने 25 जुलाई को गिरीश, अफसल, नजुमल, शिबू, विमल, सुधीश, शान, रथीश, बीजू, रेन्जिथ, सली और मुनीर को भारतीय दंड संहिता (आईपीसी) के तहत दोषा पाया। सभी के जमानत बॉन्ड रद्द कर उन्हें जेल में भेज दिया गया। उन्हें 30 जुलाई को अदालत के समक्ष पेश किया जाएगा।
अदालत ने आईपीसी की धारा 212 के तहत एक अपराधी को शरण देने के आरोप में सुमन पीएस और सीपीआई(एम) कोल्लम जिला समिति के सदस्य बाबू पणिक्कर को भी दोषी ठहराया, लेकिन उन्हें जमानत पर रिहा कर दिया गया है। इन दोनों को 30 जुलाई को अदालत के समक्ष पेश किया जाएगा। इस मामले में दोषी ठहराए गए 14 लोगों के अलावा अन्य चार रियास, मार्कसन येसुदास, जयमोहन और रॉयकुट्टी को रिहा कर दिया गया है।
अभियोजन पक्ष के अनुसार, साल 2010 में आईएनटीयूसी नेता रामभद्रन की उनके घर के अंदर उनके परिवार के सामने हत्या कर दी गई थी। अपराधी 10 अप्रैल 2010 को पीड़ित के घर में घुसा था। इसके बाद पीड़ित की पत्नी और दो बच्चों के सामने उसकी हत्या कर दी। इस मामले को बाद में सीबीआई को स्थानांतरित कर दिया गया था।
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