सरकार के खिलाफ सड़कों पर उतरे सर्बिया के लोग
प्रदर्शनकारियों का आरोप है कि राष्ट्रपति वुसिक ने अपने प्रभाव का इस्तेमाल करते हुए मतपेटियों में गड़बड़ी कराई। कई अंतरराष्ट्रीय पर्यवेक्षकों ने भी ऐसा ही दावा किया है।
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बेलग्रेड (आरएनआई) यूरोपीय देश सर्बिया में इन दिनों सरकार विरोधी प्रदर्शन बड़े पैमाने पर हो रहे हैं। रविवार को तो प्रदर्शनकारियों ने बेलग्रेड की ऐतिहासिक इमारत सिटी हॉल में घुसने की कोशिश की। इस दौरान प्रदर्शनकारियों की सुरक्षा बलों से झड़प भी हुई और आखिरकार सुरक्षाबल प्रदर्शनकारियों को खदेड़ने में सफल रहे। बता दें कि प्रदर्शनकारियों की मांग है कि हाल ही में हुए चुनाव को अवैध घोषित किया जाए। प्रदर्शनकारियों का आरोप है कि चुनाव में बड़े पैमाने पर धांधली हुई थी।
सर्बिया में बीती 17 दिसंबर को आम चुनाव नतीजों का एलान किया गया था। इस चुनाव नतीजों में भी राष्ट्रपति एलेक्जेंडर वुसिक की सरकार की सत्ता में वापसी हुई। वुसिक की पार्टी सर्बियन प्रोग्रेसिव पार्टी ने 47 फीसदी वोट पाकर फिर से सत्ता हासिल की। वहीं विरोधी पार्टी सर्बिया अगेंस्ट वॉयलेंस को 23.5 फीसदी वोट मिले। अन्य सोशलिस्ट पार्टी ऑफ सर्बिया को 6.56 फीसदी वोट मिले हैं। हालांकि विपक्षी पार्टियों के समर्थक इन नतीजों से खुश नहीं हैं और चुनाव में धांधली का आरोप लगाकर चुनाव को अवैध घोषित कर दोबारा चुनाव कराने की मांग कर रहे हैं।
प्रदर्शनकारियों का आरोप है कि राष्ट्रपति वुसिक ने अपने प्रभाव का इस्तेमाल करते हुए मतपेटियों में गड़बड़ी कराई। कई अंतरराष्ट्रीय पर्यवेक्षकों ने भी ऐसा ही दावा किया है। चुनाव नतीजे आने के बाद से ही सरकार और राष्ट्रपति वुसिक के खिलाफ विरोध प्रदर्शन हो रहे हैं। रविवार की शाम सैंकड़ों प्रदर्शनकारियों ने बेलग्रेड शहर की ऐतिहासिक प्रशासनिक इमारत बेलग्रेड सिटी हॉल में घुसने की कोशिश की। वहीं राष्ट्रपति वुसिक ने चुनाव में धांधली के आरोपों को सिरे से खारिज कर दिया।
रविवार को सरकारी टीवी पिंक टीवी पर दिए अपने भाषण में राष्ट्रपति वुसिक ने आरोप लगाया कि प्रदर्शनकारी देश को अशांत करना चाहते हैं लेकिन वह इसमें सफल नहीं होंगे। रविवार को हुए प्रदर्शन के बाद पुलिस ने 35 प्रदर्शनकारियों को गिरफ्तार किया है। बता दें कि बीते मई में भी सरकार विरोधी प्रदर्शन हुए थे। इन प्रदर्शनों में मास शूटिंग में मारे गए 18 लोगों के मुद्दे पर, महंगाई और भ्रष्टाचार के मुद्दे पर सरकार पर निशाना साधा था।
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