‘मृतक डॉक्टर के परिवार को पुलिस ने घर में नजरबंद किया’, अधीर रंजन बोले- मुझे अस्पताल जाने से रोका
पश्चिम बंगाल के कांग्रेस अध्यक्ष अधीर रंजन चौधरी ने कहा है कि आरजी कर मेडिकल कॉलेज में दुष्कर्म के बाद हत्या की शिकार के माता-पिता को पुलिस ने घर में नजरबंद कर रखा है। कांग्रेस नेता ने कहा कि पुलिस ने उन्हें भी प्रदर्शनकारी डॉक्टरों से नहीं मिलने दिया।
कोलकाता (आरएनआई) पश्चिम बंगाल कांग्रेस अध्यक्ष अधीर रंजन चौधरी ने आरोप लगाया है कि बलात्कार और हत्या की शिकार डॉक्टर के माता-पिता को पुलिस ने घर में नजरबंद कर रखा है। चौधरी ने मृत डॉक्टर के घर जाकर माता-पिता से बातचीत की। उन्होंने यह भी आरोप लगाया कि पुलिस ने माता-पिता से जल्दी शव का अंतिम संस्कार करने के लिए पैसे देने की बात कही थी।
कांग्रेस प्रदेश अध्यक्ष ने बताया, "मैंने मृतक डॉक्टर के परिवार के घर जाकर उनसे काफी देर तक बात की। पुलिस ने परिवार को घर में नजरबंद कर रखा है। वे तरह-तरह के बहाने बनाकर उन्हें घर से बाहर नहीं निकलने दे रहे हैं। 'उनके चारों ओर मोर्चाबंदी कर दी गई, जबकि सीआईएसएफ को इसके बारे में कोई जानकारी नहीं है।
चौधरी ने आरोप लगाया कि कोलकाता पुलिस ने राज्य सरकार के निर्देश का पालन करते हुए पिता को पैसे की पेशकश करते हुए कहा था कि उनकी बेटी के शव का बिना किसी देरी के अंतिम संस्कार किया जाए।
वरिष्ठ कांग्रेस नेता को पुलिस ने आरजी कर मेडिकल कॉलेज और अस्पताल में प्रवेश करने से रोक दिया जब वह आंदोलनकारी जूनियर डॉक्टरों से मिलने वहां पहुंचे थे।
अधीर रंजन चौधरी ने कहा, "मैं उनके प्रति एकजुटता व्यक्त करने के लिए एक राजनीतिक नेता नहीं बल्कि एक आम व्यक्ति के रूप में वहां गया था। लेकिन पुलिस ने मुझे उनसे मिलने से रोक दिया। अगर पुलिस ने इतनी ही तत्परता पहले दिखाई होती तो हमारी डॉक्टर बहन का ये हश्र नहीं होता।’’
स्नातकोत्तर प्रशिक्षु का शव 9 अगस्त को कोलकाता में सरकारी आरजी कर मेडिकल कॉलेज और अस्पताल के सेमिनार कक्ष में पाया गया था। जिसके बाद से दोषियों को सजा दिलाने के लिए जूनियर डॉक्टर लगातार प्रदर्शन कर रहे हैं।
आरजी कर मेडिकल कॉलेज और अस्पताल के पूर्व प्रिंसिपल संदीप घोष के खिलाफ एफआईआर पर वकील सायन सचिन बसु ने बताया, हमने कोलकाता पुलिस कमिश्नर के पास शिकायत दर्ज कराई थी कि आरजी कर मेडिकल कॉलेज के पूर्व प्रिंसिपल संदीप घोष ने एक इंटरव्यू में पीड़िता का नाम 7 से 9 बार लिया। भारतीय न्याय संहिता की धारा 72 के अनुसार, पीड़िता का नाम उजागर नहीं किया जा सकता। हमने पुलिस कमिश्नर के पास शिकायत दर्ज कराई थी और आज हमें एफआईआर की कॉपी मिली है, हमने सांसद रचना बनर्जी और आरजी कर मेडिकल कॉलेज के पूर्व प्रिंसिपल संदीप घोष के खिलाफ मामला दर्ज कराया है।
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