मुख्यमंत्री ने वित्त मंत्री पर झूठ बोलने का आरोप लगाया, बोले- भाजपा हमें बदनाम करने की कोशिश कर रही
सीएम सिद्धारमैया ने कहा कि 'बजट पूर्व बैठक में आपने कहा था कि आप ऊपरी भद्रा परियोजना के लिए 5300 करोड़ रुपये देंगे लेकिन बजट में पैसा नहीं दिया गया। 15वें वित्त आयोग ने अपनी रिपोर्ट में विशेष अनुदान के रूप में 5,495 करोड़ रुपये देने की सिफारिश की थी, लेकिन ये पैसा भी कहां है?
बेंगलुरु (आरएनआई) कर्नाटक के मुख्यमंत्री सिद्धारमैया ने सोमवार को केंद्रीय वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण पर 'झूठ बोलने' का आरोप लगाया। मुख्यमंत्री ने केंद्र की भाजपा सरकार पर हालिया केंद्रीय बजट में राज्य के साथ 'अन्याय' करने का भी आरोप लगाया। उन्होंने कहा कि भाजपा, कांग्रेस शासित कर्नाटक को भ्रष्ट राज्य के रूप में बदनाम करना चाहती है। मुख्यमंत्री ने कहा कि वह और उपमुख्यमंत्री डीके शिवकुमार दिल्ली जाएंगे, जहां वे पार्टी आलाकमान के साथ पार्टी और सरकार पर चर्चा करेंगे।
सीएम सिद्धारमैया ने कहा कि 'बजट पूर्व बैठक में आपने कहा था कि आप ऊपरी भद्रा परियोजना के लिए 5300 करोड़ रुपये देंगे लेकिन बजट में पैसा नहीं दिया गया। 15वें वित्त आयोग ने अपनी रिपोर्ट में विशेष अनुदान के रूप में 5,495 करोड़ रुपये देने की सिफारिश की थी, लेकिन ये पैसा भी कहां है? कहा गया था कि बंगलूरू में रिंग रोड के लिए तीन हजार करोड़ रुपये दिए जाएंगे और जल निकायों के विकास के लिए भी तीन हजार करोड़ रुपये देने का वादा किया गया था, लेकिन ये (बजट में) कहा है?'
सीएम ने मीडिया से बात करते हुए कहा कि 'इनमें से कुछ भी बजट में नहीं है, क्या यह अन्याय नहीं है? आंध्र प्रदेश और बिहार को दिया गया है, कर्नाटक को क्या दिया गया है? केंद्रीय मंत्री एच डी कुमारस्वामी और निर्मला सीतारमण कम से कम यह तो कह सकते थे कि वे यह सुनिश्चित करने का प्रयास करेंगे कि कर्नाटक को उसका हक मिले।' वित्त मंत्री सीतारमण से हाल ही में सीएम के उन आरोप खारिज कर दिया था, जिसमें सीएम ने कहा था कि उनके राज्य का हक नहीं मिला। वित्त मंत्री ने दावा किया था कि फंड आवंटन के बारे में बहुत सारी गलत सूचनाएं फैलाई जा रही हैं। सीतारमण ने यह भी आरोप लगाया था कि '(कर्नाटक में) बिगड़ती कानून व्यवस्था के कारण उद्योग डरे हुए हैं और वे बाहर निकलना चाहते हैं।'
वित्त मंत्री के आरोपों पर सिद्धारमैया ने कहा 'क्या उनके (कुमारस्वामी के) मांड्या निर्वाचन क्षेत्र में कोई नया उद्योग आया है? क्या राज्य में कोई औद्योगिक गलियारा आया है? कोई मेकेदातु (परियोजना), कोई उद्योग नहीं, हमने जो अनुदान मांगा था वह नहीं आया, हमने रायचूर में एम्स, हासन या मैसूर के लिए आईआईटी मांगा था - क्या ऐसा हुआ?'
सिद्धारमैया ने कहा कि 'उन्होंने (वित्त मंत्री) आरोप लगाया है कि कर्नाटक से उद्योग दूसरे राज्यों में जा रहे हैं तो क्या आपको पता है कि देश में आने वाले एफडीआई में 31 प्रतिशत की गिरावट आई है, यह किसकी वजह से है? यह नीतियों और कार्यक्रमों की वजह से है; नीतियां और कार्यक्रम कौन बनाता है? यह श्रीमती निर्मला सीतारमण हैं, जो देश की वित्त मंत्री हैं।'
सीएम ने कहा कि 'कर संग्रह में महाराष्ट्र नंबर एक है, कर्नाटक नंबर दो है - ऐसा कौन सा योगदान है जो हमने नहीं दिया?' उन्होंने आगे कहा कि केंद्र राज्य सरकार पर अधिक ऋण लेने का आरोप लगा रही है, लेकिन हमने राजकोषीय उत्तरदायित्व अधिनियम की सीमाओं के भीतर काम किया है और जीएसडीपी का 25 प्रतिशत जबकि उन्होंने (केंद्र ने) 15 लाख करोड़ रुपये से अधिक उधार लिया है।' एक सवाल के जवाब में मुख्यमंत्री ने कहा, 'सभी को मिलकर राज्य के साथ हुए अन्याय के खिलाफ विरोध करना चाहिए। कर्नाटक भ्रष्ट नहीं है। हमारे (कांग्रेस के) सत्ता में आने के बाद, हम भ्रष्टाचार के खिलाफ लड़ रहे हैं, हमारी सरकार के तहत भ्रष्टाचार में कमी आई है।
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