मालदीव में गैराज में आग लगने से सात भारतीय समेत 10 लोगों की झुलसकर मौत: भारतीय उच्चायोग
मालदीव की राजधानी माले में विदेशी कामगारों के क्वार्टर के गैराज में भीषण आग लग जाने से सात भारतीय नागरिकों समेत 10 लोगों की झुलसकर मौत हो गई। मालदीव में भारतीय उच्चायोग ने शुक्रवार को यह जानकारी दी।
माले, 11 नवंबर 2022, (आरएनआई)। मालदीव की राजधानी माले में विदेशी कामगारों के क्वार्टर के गैराज में भीषण आग लग जाने से सात भारतीय नागरिकों समेत 10 लोगों की झुलसकर मौत हो गई। मालदीव में भारतीय उच्चायोग ने शुक्रवार को यह जानकारी दी।
आग स्थानीय समयानुसार बृहस्पतिवार रात करीब साढ़े बारह बजे मावेयो मस्जिद के पास स्थित एम. निरुफेही में कार मरम्मत के गैराज में लगी थी। मालदीव में भारतीय उच्चायोग (एचसीआईएम) ने कहा कि स्थानीय अधिकारियों ने उन्हें सूचित किया है कि मृतकों में सात भारतीय नागरिक शामिल हैं।
भारतीय उच्चायोग ने ट्वीट किया, ‘‘माले में आग लगने की घटना: मालदीव के अधिकारियों ने पुष्टि की है कि मरने वालों में सात भारतीय नागरिक हैं। एक व्यक्ति की पहचान होनी अब भी बाकी है। उच्चायोग परिवारों के संपर्क हैं।’’
मालदीव की मीडिया ने बृहस्पतिवार को मालदीव नेशनल डिफेंस फोर्स (एमएनडीएफ) के हवाले से कहा था कि आग में मारे गए 10 लोगों में नौ भारतीय थे।
एचसीआईएम ने अन्य ट्वीट में कहा, ‘‘उच्चायोग के अधिकारियों ने घटनास्थल से सुरक्षित निकाले गए भारतीय नागरिकों से मुलाकात की। उन्हें हर संभव सहायता का आश्वासन दिया गया। हम मालदीव के अधिकारियों, गैर सरकारी संगठन (एनजीओ) और समुदाय के सदस्यों के आभारी हैं जिन्होंने बचाए गए लोगों को जरूरी सहयोग मुहैया करायी।’’
‘सनऑनलाइन’ की खबर के अनुसार, ताजा सूचना के मुताबिक आग में मारे गए लोगों में भारतीय एवं बांग्लादेशी नागरिक शामिल हैं जिनमें महिला एवं पुरूष दोनों की मौत हुई है।
खबर में कहा गया है कि आग निचले तल पर एक गैराज में लगी थी, जबकि इमारत के पहले तल पर प्रवासी मजदूर रहते थे और वहां हवा आने जाने के लिए सिर्फ एक खिड़की थी।
अधिकारियों ने कहा कि प्रवासी जिस बिस्तर पर सोए थे उसके पास एक गैस सिलेंडर था। इस क्वार्टर में बांग्लादेश, भारत और श्रीलंका के प्रवासी मजदूर भी रहते थे।
खबर में कहा गया है कि घटना में कुल 10 लोगों की मौत हुई है। घायलों में से एक की पहचान बांग्लादेशी नागरिक के तौर पर हुई है, जिसकी हालत नाजुक है। घटना में बुरी तरह से झुलसकर मारे गए लोगों की पहचान के प्रयास किए जा रहे हैं। पुलिस ने कहा है कि वे कुछ मृतकों के परिजनों से संपर्क नहीं कर पाए हैं।
अधिकारियों के अनुसार, अधिकारियों ने बताया कि प्रवासियों के क्वार्टर में कम से कम 38 लोग रहते थे और प्रत्येक बिस्तर के बगल में रसोई गैस का सिलेंडर रखा था। इनमें से 28 को बचा लिया गया, जिनमें से छह महिलाएं और तीन पुरुष समेत नौ लोग एनडीएमए की देखरेख में हैं।
विदेश मंत्री एस. जयशंकर ने बृहस्पतिवार को ट्वीट किया, ‘‘आज माले में आग की घटना में लोगों की दुखद मौत से गहरा दुख हुआ। उच्चायोग भारतीयों के संबंध में पूरा ब्यौरा देगा, जो प्रभावित परिवारों से संपर्क कर रहा हैं।’’
मालदीव के विदेश मंत्री अब्दुल्ला शाहिद ने बृहस्पतिवार को अपने भारतीय समकक्ष जयशंकर से बात की और राजधानी माले में भीषण आग में कई भारतीयों की मौत पर मालदीव की सरकार और लोगों की ओर से संवेदना व्यक्त की।
फोन पर हुई बातचीत में शाहिद ने जयशंकर से कहा कि घटना के संबंध में विस्तृत जांच के आदेश दिए गए हैं जिसमें 10 लोग मारे गए हैं।
मालदीव के विदेश मंत्री ने कहा कि उन्होंने बांग्लादेश के अपने समकक्ष से भी बात की। शाहिद ने ट्वीट किया, ‘‘भारत के विदेश मंत्री डॉ. एस. जयशंकर और बांग्लादेश के विदेश मंत्री डॉ. ए. के. अब्दुल मोमेन से बात की और बीती रात को माले में हुई घटना में मारे गए लोगों के प्रति मालदीव की जनता एवं लोगों की ओर से संवेदना व्यक्त की। दोनों नेताओं को सूचित किया कि इस संबंध में विस्तृत जांच जारी है।’’
इसके अलावा विदेश मंत्रालय के प्रवक्ता अरिंदम बागची ने इस घटना को ‘‘त्रासद’’ बताया। उन्होंने कहा कि माले में भारतीय उच्चायोग प्रभावित भारतीयों और उनके परिवारों को हर संभव मदद मुहैया कराएगा।
बागची ने कहा, ‘‘वहां हमारे उच्चायोग ने स्पष्ट किया है कि स्थानीय अधिकारियों ने संकेत दिया है कि कम से कम 10 शव मिले हैं। स्थानीय अधिकारी शवों की पहचान करने में जुटे हैं।’’
मालदीव राष्ट्रीय आपदा प्राधिकरण (एमएनडीए) के प्रमुख हिसन हसन ने बृहस्पतिवार को बताया कि इमारत से 28 लोगों को बचा लिया गया है। उन्होंने कहा कि उनमें से 19 को उनके नियोक्ता ले गए हैं जबकि नौ लोग एमएनडीए की देखरेख में हैं जिनमें छह महिलाएं और तीन पुरुष हैं।
एमएनडीएफ के दमकल एवं बचाव सेवा के कमांडेंट कर्नल इब्राहिम रशीद ने कहा कि स्थानीय समयानुसार सुबह चार बजकर 34 मिनट पर आग पर काबू पा लिया गया। इब्राहिम ने कहा कि घटनास्थल से बरामद शव गंभीर रूप से झुलसे हुए थे, जिससे उनकी पहचान करना या उनके लिंग का निर्धारण करना भी मुश्किल हो गया।
माले की 250,000 लोगों की आबादी का लगभग आधा हिस्सा विदेशी कामगारों का है, जो ज्यादातर बांग्लादेश, भारत, नेपाल, पाकिस्तान और श्रीलंका से हैं।
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