भाजपा और कांग्रेस में ईमानदारी से किए विकासकार्यो तथा जनता के सुख दुख में सहभागिता से मिलेगी जीत
राजा-रजवाड़ों से मुक्ति की सोच में जनता का होगा मतदान, जिले की चारो सीटों में मोदी के चेहरे पर जीतने का लक्ष्य तय।
गुना, (आरएनआई) प्रदेश में होने वाले विधानसभा चुनाव को लेकर सत्ता पर पुनः काबिज रहने और काबिज होने को लेकर सत्ता पर आरूढ़ होने के कांग्रेस बेताब है,वही काबिज बने रहने के भाजपा अपनी रणनीति चल रही हे। जिसकी कमान सीधे सीधे नरेंद्र मोदी और अमित शाह के हाथो में हे,जिनके हल्के इशारे पर भाजपा के राष्ट्रीय अध्यक्ष डोर को हरकत देते हे। या यह कहें कि सरकार बनाने ये कमर कसे हुए है जिसमे कोई लॉच नहीं देना चाहते है।
सरकार बनाने को लेकर प्रदेश की 230 सीटों को लेकर दोनो ही पार्टियां भाजपा और कांग्रेस हर कदम फूंक फूंक के रखकर जितने वाले कैंडिडेट को उतार रही है। जिनमे पूर्व में जीते और रिकार्ड तोड जितने वाले कैंडिडेट को वह मैदान में ला रही है।
जिले की चार विधानसभा सीटों में से दो विधानसभा चाचौड़ा और राधौगढ़ में इस विधानसभा चुनाव में राधौगढ़ किले को दो स्तंभ ढहाने को लेकर भाजपा ने सेंधमारी की हैं, इस चुनाव में कांग्रेस के कब्जे वाली इन दोनो सीटों को जीतने की जिम्मेदारी केंद्रीय मंत्री ज्योतिरादित्य सिंधिया और नरेंद्र सिंह तोमर को दी गई है। वही बमोरी और गुना भाजपा की कब्जे वाली सीटों से जिन्हे रिकार्ड रूप से जीता गया था, इन सीटों को अपने कब्जे में यथावत काबिज रहना चाहती हे। जिसमे बमोरी से महेंद्र सिंह सिसोदिया वर्तमान विधायक और सरकार में पंचायत एवं ग्रामीण विकास मंत्री हैं व केंद्रीय मंत्री ज्योतिरादित्य सिंधिया के कट्टर समर्थक और नजदीकी है। तथा गुना की विधानसभा सीट से अजेय योद्धा के रूप में भाजपा से गोपीलाल जाटव विधायक हे जो सातवी बार जीते थे, लोगो में सीधे और व्यवहारिक श्री जाटव पर कोई गंभीर आरोप भी नही है। ये पहिले भी अशोकनगर जिले से भी जीतते रहे है। अब भाजपा की तिकड़ी नरेंद्र मोदी,अमित शाह और भाजपा अध्यक्ष जेपी नड्डा प्रदेश में सरकार बनाने को लेकर दिग्विजय सिंह के परिवार के लोगो के कब्जे से दो सीट और अपनी पार्टी को जीत दिलाने का लक्ष्य रखकर चारो सीटों पर का होने का टारगेट प्रदेश को दिया है। सूत्र बताते हे कि चाचौड़ा सीट पर दिग्विजय सिंह के करीबी परिवार रहे की बहु प्रियंका पेंची ओर राधौगढ़ से दिग्विजय,लक्ष्मण सिंह के साथ वर्तमान कांग्रेस विधायक जयवर्धन सिंह के करीबी मित्र हिरेंद्र सिंह बंटी बना भाजपा से प्रतिद्वंदी है। जो पूर्व कांग्रेस विधायक दादा मूलसिंह के बेटे है जो राजपरिवार से जुड़े हैं।
दूसरी ओर महेंद्र सिंह सिसोदिया भाजपा से विधायक और मंत्री के रूप में सम्पूर्ण विधानसभा बमोरी में पिछले लगभग साढ़े साल में विकास कार्यों को लेकर प्रदेश में अलग पहचान बना चुके हैं। इस विधानसभा में विरोधाभास की बात खत्म कर कांग्रेस के कार्यकर्ताओं को भी भाजपा में शामिल कर भाजपा को सबल किया है, बमोरी विधानसभा की बमोरी,फतेहगढ़,म्याना सहित बड़ी ग्राम पंचायतों में स्वास्थ्य,शिक्षा,स्कूल, कॉलेज,सड़क,पेयजल, बिजली,डेम,स्टॉप डेम,तालाब,आधुनिक चिकित्सा और पोषण आहार जैसी सुविधाएं लाकर दी है, बमोरी विधानसभा के मतदाता और युवा मतदाता उन्हे संजू भैया के नाम से संबोधित कर पुकारते हैं। हां यह बताना भूल गया कि मंत्री महेंद्र सिंह सिसोदिया संजू भैया ने अपनी विधानसभा के गरीबों, असहाय, विकलांग,बीमार,गंभीर बीमार,जरूरतमंद लोगों के इलाज में आर्थिक मदद की ओर उनका इलाज कराया हैं,वही मुख्यमंत्री से भी सहायता दिलाई है, ऐसे लोगो की संख्या लगभग 55 हजार करीब हैं। वही मंत्री ने अपनी स्वच्छेनुदान निधि से भी जरूरतमंद, क्षात्रो की भी मदद की हैं।
गुना विधायक गोपीलाल जाटव भी अपनी सरलता और सीधे होने के कारण चर्चित है, वैसे तो मुख्यमंत्री शिवराज के करीबी बताए जाते हैं लेकिन पुराने भाजपाई हे और मजदूर वर्ग से संघर्ष करते हुए सातवी बार विधायक चुने गए हैं,एक बार ये राज्यमंत्री भी कुछ समय के लिए बने थे। अब वर्तमान में ज्योतिरादित्य सिंधिया के नजदीक पहुंचने के प्रयास जारी है। वैसे तो ज्यादा पड़े लिखे नही है लेकिन इनके सिपहसालार बुद्धिमान है और बात पर नजर रखते है, पूर्व में राज्यसभा चुनाव में वोटिंग के दौरान क्रास वोटिंग कर काफी विवाद में रहे हे। फिलहाल शहर की सड़को के सुधार,अस्पताल की बेहतर असफलताओं के साथ गुनिया नदी तथा भुजरिया तालाब की अनदेखी से इन्हे टिकिट मिलता है तो नुकसान संभावित हैं। बाकी बेहद निष्ठवान ओर इमानदार छवि के विधायक हैं।
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