बांग्लादेश में चिन्मय प्रभु का बचाव करने वाले वकील पर हमला; कोलकाता इस्कॉन के प्रवक्ता राधारमण का दावा
इस्कॉन कोलकाता के प्रवक्ता दास ने आईसीयू में रॉय की तस्वीर के साथ एक्स पर एक पोस्ट किया। उन्होंने कहा कि वकील रामने रॉय के लिए प्रार्थना करें। इस्लामिक कट्टरपंथियों ने उनके घर पर तोड़फोड़ की और बेरहमी से हमला किया।
कोलकाता (आरएनआई) इस्कॉन कोलकाता के प्रवक्ता राधारमण दास ने सोमवार को दावा किया कि बांग्लादेश में हिंदू समुदाय के प्रमुख चेहरे चिन्मय कृष्ण दास प्रभु का बचाव करने वाले वकील रामेन रॉय पर क्रूरतापूर्वक हमला किया गया है। वह हमले में गंभीर रूप से घायल हुए हैं और अस्पताल में अपने जीवन के लिए लड़ रहे हैं। दास ने कहा कि वकील रॉय की एकमात्र गलती अदालत में चिन्मय प्रभु का बचाव करना था।
इस्कॉन कोलकाता के प्रवक्ता दास ने आईसीयू में रॉय की तस्वीर के साथ एक्स पर एक पोस्ट किया। उन्होंने कहा कि वकील रामने रॉय के लिए प्रार्थना करें। इस्लामिक कट्टरपंथियों ने उनके घर पर तोड़फोड़ की और बेरहमी से हमला किया। उन्होंने दावा किया कि हमले में रॉय गंभीर रूप से घायल हो गए। वह फिलहाल आईसीयू में हैं और अपनी जिंदगी के लिए संघर्ष कर रहे हैं।
एक बंगाली समाचार चैनल से बातचीत में इस्कॉन कोलकाता के उपाध्यक्ष दास ने कहा कि वकील रॉय पर यह क्रूर हमला चिन्मय कृष्ण प्रभु की कानूनी रक्षा का प्रत्यक्ष परिणाम है। यह बांग्लादेश में धार्मिक अल्पसंख्यकों के अधिकारों की रक्षा करने वालों के सामने बढ़ते खतरे को दर्शाता है।
बांग्लादेश सम्मिलिता सनातनी जागरण जोत के प्रवक्ता चिन्मय कृष्ण दास प्रभु को बीते सोमवार को ढाका के हजरत शाहजलाल अंतरराष्ट्रीय हवाई अड्डे से गिरफ्तार किया गया था। वह एक रैली में भाग लेने के लिए चटोग्राम जा रहे थे। गिरफ्तारी के बाद बांग्लादेश की एक अदालत ने उन्हें जमानत देने से इनकार करते हुए जेल भेज दिया।
बांग्लादेश में हिंदू समुदाय की संख्या 1971 के मुक्ति संग्राम के दौरान लगभग 22 फीसदी थी, लेकिन अब यह घटकर लगभग 8 प्रतिशत रह गई है। इस गिरावट का कारण धार्मिक हिंसा, सामाजिक-राजनीतिक दबाव और पलायन है।
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