पहलगाम हमले को लेकर कांग्रेस की हिदायत- पार्टी लाइन से हटकर बयान न दें पार्टी के नेता
अपने नेताओं के विवादित बयान के बाद भाजपा के हमले का सामना कर रही कांग्रेस ने पार्टी ने साफ कर दिया है। पार्टी अध्यक्ष, लोकसभा में विपक्ष के नेता और अधिकृत नेताओं के ही बयान पार्टी के बयान है। जम्मू-कश्मीर के पहलगाम में हुए आतंकी हमले में पर्यटकों को निशाना बनाया गया था, जिसमें एक नेपाली नागरिक समेत 26 लोग मारे गए थे। इसके बाद, भारत ने सीमा पार आतंकवाद को समर्थन देने के लिए पाकिस्तान के खिलाफ कड़े कदम उठाए हैं।

नई दिल्ली (आरएनआई) कांग्रेस पार्टी ने पहलगाम पर अपने कुछ नेताओं की विवादित टिप्पणियों से दूरी बनाते हुए हिदायत दी कि संवेदनशील विषय पर पार्टी लाइन से हटकर बयान नहीं दिया जाना चाहिए। कांग्रेस महासचिव और संचार प्रभारी जयराम रमेश ने कहा, कुछ कांग्रेस नेता मीडिया से बात कर रहे हैं जो कांग्रेस के विचारों को नहीं दर्शाते हैं। जयराम रमेश ने एक पोस्ट में लिखा, इस संवेदनशील समय में इस बात पर कोई संदेह नहीं होना चाहिए कि कांग्रेस कार्यसमिति का प्रस्ताव, पार्टी अध्यक्ष मल्लिकार्जुन खरगे और नेता प्रतिपक्ष राहुल गांधी के बयान और अधिकृत एआईसीसी पदाधिकारियों के विचार ही कांग्रेस की स्थिति को दर्शाते हैं।
जयराम रमेश ने कहा, 'यह सही है कि कांग्रेस पार्टी के कुछ नेता कई बातें कह रहे हैं, लेकिन यह उनकी निजी राय है। मैं यह स्पष्ट करना चाहता हूं कि किसी ने उन्हें यह सब कहने का अधिकार नहीं दिया है...कांग्रेस पार्टी का इन बयानों से कोई लेना-देना नहीं है और पार्टी ऐसे बयानों से सहमत नहीं है।'
उन्होंने कहा, 'कांग्रेस के कुछ नेता जो पहले महत्वपूर्ण पदों पर रह चुके हैं, वरिष्ठ नेताओं ने कुछ विचार व्यक्त किए हैं। कांग्रेस पार्टी का इन विचारों से कोई लेना-देना नहीं है। हम इन विचारों से खुद को अलग करते हैं। ये व्यक्तिगत विचार हैं। कांग्रेस के विचार सीडब्ल्यूसी के प्रस्ताव में व्यक्त किए गए विचार हैं। इस सर्वदलीय बैठक में कांग्रेस अध्यक्ष मल्लिकार्जुन खरगे और विपक्ष के नेता राहुल गांधी ने भी यही विचार व्यक्त किए हैं। इस सबसे संवेदनशील समय में जैसे-जैसे स्थिति विकसित होगी, कांग्रेस कार्यसमिति, कांग्रेस अध्यक्ष, लोकसभा के नेता प्रतिपक्ष पार्टी की स्थिति को स्पष्ट करेंगे।'
जयराम रमेश ने आगे कहा कि सुरक्षा चूक और खुफिया विफलताएं हुई हैं और सरकार और विपक्ष के बीच एकता, एकजुटता, सामूहिक प्रतिक्रिया और निरंतर संवाद की आवश्यकता है। 'कांग्रेस के अलग-अलग नेता जो कह रहे हैं, वह उनका अपना दृष्टिकोण है। कांग्रेस पार्टी का दृष्टिकोण कांग्रेस कार्यसमिति के प्रस्ताव में व्यक्त दृष्टिकोण है, कांग्रेस अध्यक्ष और लोकसभा में विपक्ष के नेता द्वारा व्यक्त दृष्टिकोण है। हालांकि, हमें सरकार और विपक्ष के बीच एकता, एकजुटता, सामूहिक इच्छाशक्ति, सामूहिक प्रतिक्रिया और निरंतर संवाद की आवश्यकता है। हम स्थिति की गंभीरता को समझते हैं और हमें एकजुट रहना चाहिए'।
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