नरवाई न जलाएं, उन्नत खेती और स्वच्छ पर्यावरण की ओर बढ़ें – कलेक्टर श्री कन्याल

गुना (आरएनआई) कलेक्टर ने किसानों से अपील की है कि वे खेतों में नरवाई न जलाएं और पर्यावरण हितैषी, उन्नत खेती की ओर कदम बढ़ाएं। उन्होंने कहा कि नरवाई जलाना न केवल मिट्टी की गुणवत्ता को नुकसान पहुंचाता है, बल्कि लाभकारी जीवों को भी नष्ट कर देता है, जिससे खेत की उर्वरता घटती है और पर्यावरण प्रदूषण भी बढ़ता है।
कलेक्टर कन्याल ने अपने पूर्व पदस्थापन शाजापुर जिले का उदाहरण देते हुए बताया कि वहां एक प्रभावी जन-जागरूकता अभियान चलाया गया था, जिसके तहत किसानों को निरंतर संवाद, सहभागिता और प्रशिक्षण द्वारा जागरूक किया गया। परिणामस्वरूप वहाँ नरवाई जलाने की समस्या लगभग समाप्त हो गई है। उन्होंने बताया कि हाल ही में उन्हें शाजापुर से एक प्रेरणादायक वीडियो प्राप्त हुआ, जिसमें एक किसान अपने खेत में नरवाई जलाने के बजाय ट्रैक्टर से उसे मिट्टी में मिला रहा था। यह उदाहरण इस बात का प्रमाण है कि जागरूकता और संकल्प से बदलाव संभव है।
कलेक्टर श्री कन्याल ने कहा, “गुना जिले में भी यह परिवर्तन लाना संभव है। हमें इसे मिलकर एक जनआंदोलन का रूप देना होगा।” उन्होंने किसानों से आग्रह किया कि फसल अवशेषों को जलाने की बजाय आधुनिक यंत्रों की सहायता से मिट्टी में मिलाएं। जिससे उत्पादन में सुधार होने के साथ ही वायु प्रदूषण जैसी गंभीर समस्याओं से भी बचाव होगा।
कलेक्टर कन्याल ने जिलेवासियों से भी अपील कि है यदि कहीं भी नरवाई जलाए जाने की जानकारी मिले, तो तत्काल संबंधित राजस्व या कृषि विभाग अथवा जिला प्रशासन को सूचित करें, ताकि समय रहते कार्रवाई की जा सके।
उन्होंने विश्वास जताया कि “गुना जिले के किसानों में सामर्थ्य और संकल्प दोनों हैं। यदि हम सब मिलकर आगे बढ़ें, तो हमारा जिला देशभर में पर्यावरण-संवेदनशील और जैविक खेती को अपनाने वाला अग्रणी जिला बन सकता है।”
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