हनुमान जन्मोत्सव आज, इस विधि से करें पवनपुत्र हनुमान की पूजा
हिंदू पंचांग के अनुसार चैत्र माह के शुक्ल पक्ष की पूर्णिमा तिथि के दिन अंजनि पुत्र मारुति का जन्म हुआ था। मान्यता है कि केसरीनंदन की विधिवत पूजा करने से सभी तरह के कष्टों से मुक्ति मिल जाती है।

नई दिल्ली (आरएनआई) हनुमान जी भगवान शिव के 11वें रुद्र अवतार हैं। जब भगवान श्रीराम के रूप में विष्णु ने अवतार लिया, तो शिव जी ने उनकी मदद के लिए हनुमान जी का जन्म लिया। माता अंजना और राजा केसरी की तपस्या से प्रसन्न होकर शिव जी ने उन्हें एक ऐसा पुत्र मांगा, जो बल में रुद्र, गति में वायु और बुद्धि में गणपति जैसा हो। शिव जी ने अपनी रौद्र शक्ति पवन देव के रूप में अर्पित की, जो बाद में अंजना के गर्भ में प्रविष्ट हुई, और हनुमान जी का जन्म हुआ।
हनुमान जी को गदा कुबेर देव से प्राप्त हुई थी, जिन्होंने उन्हें यह आशीर्वाद दिया कि वे कभी भी युद्ध में परास्त नहीं होंगे। गदा से ही हनुमान जी दुष्टों का संहार करते हैं और भक्तों की समस्याओं का समाधान करते हैं।
हनुमान जयंती पर मंगलवार को हनुमान जी के 12 प्रमुख नामों का जाप अत्यंत लाभकारी होता है।
हनुमान
अंजनीसुत
वायुपुत्र
महाबल
रामेष्ट
फाल्गुनसखा
पिंगाक्ष
अमितविक्रम
उदधिक्रमण
सीताशोकविनाशन
लक्ष्मण प्राणदाता
दशग्रीवदर्पहा
हनुमान जी को सिंदूर अर्पित करने से भूत-पिशाच, शनि दोष, ग्रह बाधाएं, रोग-शोक, कोर्ट-कचहरी के विवाद, दुर्घटना और कर्ज की समस्याएं दूर होती हैं। इसे मंगलवार और शनिवार को चढ़ाना शुभ माना जाता है।
वानर की प्रतिमा
घर के लिए वानर की प्रतिमा खरीदें, जो हनुमान जी की वानर सेना की याद दिलाती है और शुभ प्रभाव डालती है।
तांबे का छोटा फरसा
तांबे का फरसा घर लाकर वास्तु दोष दूर करें। इसकी आकृति त्रिशूल जैसी होती है।
हनुमान जी की गदा
हनुमान जी का प्रिय अस्त्र गदा खरीदें और मंदिर में रखें, जिससे उनकी कृपा प्राप्त हो सकती है।
राम नाम चढ़ाएं: पीपल के पत्ते पर चमेली तेल और सिंदूर से 'राम' नाम लिखकर हनुमान जी को चढ़ाएं।
आटे का दीपक जलाएं: बजरंगबली के सामने आटे का दीपक जलाएं, इससे कर्ज से मुक्ति मिल सकती है।
पान का बीड़ा अर्पित करें: मंदिर में पूजा के बाद हनुमान जी को पान का बीड़ा अर्पित करें, जिससे उनकी कृपा प्राप्त होती है।
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