लोगों ने शरद-उद्धव की पार्टियों को दिया असली का तमगा, भाजपा के लिए बड़ा झटका महाराष्ट्र के नतीजे

जोरदार जीत के बाद शिवसेना यूबीटी के पार्टी कार्यालय के बाहर पोस्टर भी लग गए, जिनमें लिखा था कि 'कौन असली शिवसेना है? जनता ने ये बता दिया है।' महाराष्ट्र में पिछला चुनाव भाजपा और शिवसेना (अविभाजित) ने मिलकर लड़ा था और राज्य की 48 सीटों में से 41 पर कब्जा किया था।

Jun 5, 2024 - 09:28
 0  1.1k
लोगों ने शरद-उद्धव की पार्टियों को दिया असली का तमगा, भाजपा के लिए बड़ा झटका महाराष्ट्र के नतीजे

मुंबई (आरएनआई) लोकसभा चुनाव के नतीजे आ चुके हैं और कई राज्यों के नतीजों ने चौंकाया है। जिन राज्यों के चुनाव नतीजे भाजपा के अनुरूप नहीं आए हैं, उनमें महाराष्ट्र भी प्रमुख है। इस राज्य में 2019 के चुनाव में 23 सीटे जीतने वाली भाजपा इस बार नौ सीटों पर सिमट गई है। वहीं पिछले चुनाव में एक सीट जीतने वाली कांग्रेस इस बार 13 सीटों के साथ सबसे बड़ी पार्टी बनकर उभरी है। इन चुनाव नतीजों से एक बात साफ हुई है कि उद्धव ठाकरे की शिवसेना और शरद पवार की एनसीपी को लोगों की सहानुभूति मिली है।  

शिवसेना यूबीटी और एनसीपी एसपी ने बगावत, टूट देखी और दोनों के चुनाव चिन्ह छिन गए, यहां तक कि नाम भी बदलने पड़े, इसके बावजूद जनता ने इन दोनों पार्टियों को असली का तमगा देते हुए खूब सीटें दीं। महाराष्ट्र में शिवसेना यूबीटी को नौ और एनसीपी एसपी को 8 सीटों पर जीत मिली है। भाजपा नौ सीटों पर सिमट गई है, जबकि कांग्रेस 13 सीटों के साथ सबसे बड़ी पार्टी बनकर उभरी है। एकनाथ शिंदे की शिवसेना को सात और अजित पवार की एनसीपी को सिर्फ एक सीट पर जीत मिली है। एक सीट निर्दलीय के खाते में गई है। जोरदार जीत के बाद शिवसेना यूबीटी के पार्टी कार्यालय के बाहर पोस्टर भी लग गए, जिनमें लिखा था कि 'कौन असली शिवसेना है? जनता ने ये बता दिया है।

महाराष्ट्र में पिछला चुनाव भाजपा और शिवसेना (अविभाजित) ने मिलकर लड़ा था और राज्य की 48 सीटों में से 41 पर कब्जा किया था। बाद में दोनों पार्टियों ने विधानसभा चुनाव भी साथ मिलकर लड़ा और बंपर जीत हासिल की, लेकिन सीएम पद को लेकर दोनों पार्टियों में ठन गई। नतीजा ये हुआ कि शिवसेना ने गठबंधन तोड़कर एनसीपी और कांग्रेस के साथ मिलकर महाविकास अघाड़ी की सरकार बना ली। 

इस बीच साल 2022 में शिवसेना के वरिष्ठ नेता एकनाथ शिंदे ने बगावत कर पार्टी तोड़ ली और भाजपा के साथ गठबंधन करके सीएम बन गए। वहीं लंबे समय से सत्ता में आने की जुगत में लगे अजित पवार ने भी अपने चाचा और एनसीपी मुखिया शरद पवार के खिलाफ बगावत का बिगुल फूंक दिया। नतीजा ये हुआ कि एनसीपी भी दो फाड़ हो गई और अजित पवार की एनसीपी को चुनाव आयोग ने असली का दर्जा दिया और शरद पवार को अपनी पार्टी का नाम बदलकर एनसीपी एसपी रखना पड़ा। ऐसा ही शिवसेना के साथ भी हुआ और शिंदे की शिवसेना को चुनाव आयोग ने असली शिवसेना माना और उद्धव ठाकरे की शिवसेना को भी अपना नाम बदलना पड़ा। 

अब लोकसभा चुनाव के नतीजों से साफ हो गया है कि भले ही चुनाव आयोग ने शिंदे की शिवसेना और अजित पवार की एनसीपी को असली माना, लेकिन जनता शायद ऐसा नहीं मानती और इस सहानुभूति का फायदा उद्धव ठाकरे और शरद पवार की पार्टियों को मिले जनसमर्थन के रूप में दिखा। चुनाव नतीजों के बाद शरद पवार ने राज्य की जनता को धन्यवाद भी दिया और कहा कि उन्हें महाराष्ट्र की जनता पर गर्व है। 

Follow RNI News Channel on WhatsApp: https://whatsapp.com/channel/0029VaBPp7rK5cD6XB2

What's Your Reaction?

like

dislike

love

funny

angry

sad

wow

RNI News Reportage News International (RNI) is India's growing news website which is an digital platform to news, ideas and content based article. Destination where you can catch latest happenings from all over the globe Enhancing the strength of journalism independent and unbiased.