दादर रेलवे स्टेशन के बाहर बने हनुमान मंदिर को भेजे गए नोटिस पर रोक, आदित्य ठाकरे ने भाजपा को घेरा
रेलवे ने चार दिसंबर को दादर रेलवे स्टेशन के बाहर बने हनुमान मंदिर के ट्रस्टी और पुजारी को भेजे नोटिस में कहा था कि यह अतिक्रमण है। यह यात्रियों और वाहनों की आवाजाही को प्रभावित कर रहा है। इसे लेकर शुक्रवार को उद्धव ठाकरे ने भाजपा पर सवाल उठाए थे। इसके बाद शनिवार को रेलवे ने नोटिस पर रोक लगा दी।
मुंबई (आरएनआई) महाराष्ट के दादर रेलवे स्टेशन के बाहर बने हनुमान मंदिर को अब नहीं हटाया जाएगा। रेलवे ने मंदिर को दिए गए नोटिस पर रोक लगा दी है। मध्य रेलवे की ओर से कहा गया कि भाजपा नेता आशीष शेलार और मंगल प्रभात लोढ़ा के अनुरोध पर हनुमान मंदिर के खिलाफ रेलवे के नोटिस पर रोक लगा दी गई है।
इसे लेकर शिवसेना (उद्धव) के विधायक आदित्य ठाकरे ने भाजपा को घेरा। उन्होंने कहा कि जब उद्धव ठाकरे ने भाजपा के फर्जी और चुनावी हिंदुत्व को उजागर किया तो रेलवे ने दादर मंदिर को दिए गए नोटिस को खारिज कर दिया। आज हम दादर मंदिर जा रहे हैं। शिवसेना (यूबीटी) विधायक आदित्य ठाकरे शाम को दादर रेलवे स्टेशन के पास हनुमान मंदिर पहुंचे। उन्होंने मंदिर में महाआरती की। उनके साथ पार्टी नेता अनिल देसाई, संजय राउत और कई कार्यकर्ता मौजूद थे। संजय राउत ने कहा कि देश में महाआरती की शुरुआत शिवसेना ने की थी। इसलिए आदित्य ठाकरे और शिवसेना (उद्धव) के लोगों का यहां मंदिर में आना कोई नई बात नहीं है। हम 1990 के दशक में महाआरती का आयोजन करते थे।
सीएम देवेंद्र फडणवीस ने कहा कि कोर्ट ने एक आदेश में मंदिरों को वर्गीकृत किया था और उस आदेश के अनुसार पुराने मंदिरों को नियमित किया जा सकता है। रेलवे प्रशासन से बात करने के बाद हम निश्चित रूप से इस मुद्दे का समाधान निकालेंगे। मंदिर को नियमित करने के लिए हम नियमों के अनुसार जो भी कर सकते हैं, करेंगे।
रेलवे ने चार दिसंबर को दादर रेलवे स्टेशन के बाहर बने हनुमान मंदिर के ट्रस्टी और पुजारी को भेजे नोटिस में कहा था कि यह अतिक्रमण है। यह यात्रियों और वाहनों की आवाजाही को प्रभावित कर रहा है। इसने दादर स्टेशन पर निर्माण में भी बाधा उत्पन्न की है। रेलवे ने मंदिर को सात दिन में हटाने के लिए कहा था।
दादर रेलवे स्टेशन के बाहर हनुमान मंदिर को गिराने के लिए रेलवे की ओर से दिए गए नोटिस को लेकर शुक्रवार को शिवसेना नेता उद्धव ठाकरे ने भाजपा को घेरा था। उद्धव ने कहा था कि 80 साल पुराने मंदिर को गिराने के लिए रेलवे ने फतवा जारी किया है। एक हैं तो सेफ हैं की बात कहने वाली भाजपा के शासन में मंदिर भी सुरक्षित नहीं हैं। ठाकरे ने कहा था कि रेलवे 80 साल पुराने मंदिर को ध्वस्त करने की कोशिश कर रहा है। यह कौन सा हिंदुत्व है? केंद्र और राज्य सरकार इस पर निष्क्रिय है।
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