आपातकाल लगाकर कांग्रेस ने की थी लोकतंत्र की हत्या-भाजपा

सत्ता के मोह में लगाया था कांग्रेस ने आपातकाल-भाजपा

Jun 25, 2023 - 20:56
Jun 25, 2023 - 20:56
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आपातकाल लगाकर कांग्रेस ने की थी लोकतंत्र की हत्या-भाजपा
आपातकाल लगाकर कांग्रेस ने की थी लोकतंत्र की हत्या-भाजपा

गुना। भारत के अंदर आज के दिन 25 जून 1975 को कांग्रेस ने देश मे आपातकाल लगाकर लोकतंत्र की हत्या की थी। कांग्रेस ने आपातकाल लगाकर लोकतंत्र का गला घोटा गया। यह काला अध्याय आज भी इतिहास के पन्नों पर दर्ज है। जब-जब इस देश में क्रूरता का काला इतिहास लिखा जाएगा तब-तब मुगलों, अंग्रेजों के साथ दमनकारी कांग्रेस का नाम भी लिखा जाएगा। क्योंकि मुगलों और अंग्रेजों की राह पर चलकर अपनी सत्ता को बचाए रखने के लिए कांग्रेस की क्रूर इंदिरा गांधी ने न सिर्फ लोकतंत्र को कुचलने का प्रयास किया था, बल्कि लोकतंत्र सेनानियों को जेल में ठूंसकर कठोर यातनाएं दीं। आपातकाल के चलते कई लोगों को जान गवानी पड़ी थी। इन साजिशन हत्याओं का दाग कांग्रेस के दामन से कभी नहीं जाएगा। लोकतंत्र को कुचलने वाले कांग्रेसियों तुम्हें और तुम्हारे खानदान को यह देश कभी माफ नहीं करेगा।

उक्त बात भाजपा ने आपातकाल दिवस को काला दिवस मनाये जाने पर व्यक्त किये।  भाजपा जिला गुना द्वारा रविवार को होटल नवलोक में आपातकाल के विरोध में आपातकाल विचार गोष्ठी कार्यक्रम का आयोजन किया गया। जिसमे 25 जून 1975 से 21 मार्च 1977 तक की 21 महीने की अवधि के लिए आपातकाल के दौरान जिन्होंने यातनाएं झेली उनको याद किया। इसी के तहत कार्यक्रम में मुख्य अतिथि के रूप में उपस्थित मीसाबंदी बृजमोहन मैथिल को भाजपा जिला अध्यक्ष एवं गुना विधायक ने मंच से सम्मानित कर उनके योगदान को नमन किया।

आपातकाल विचार गोष्ठी को अन्य वक्ताओं ने संबोधित करते हुए कहा कि आपातकाल की क्रूरता के खिलाफ आवाज उठाने वालों को सलाखों के पीछे बंद कर देश को जेल खाना बना दिया और यह सब सिर्फ इसलिए किया गया ताकि परिवारवाद की पोषित कांग्रेस पार्टी के हाथ में सत्ता अगली पीढ़ियों के लिए सुरक्षित हो,ऐसा करने के लिए इंदिरा गांधी ने आपातकाल की बिसात रची, जिस पर संजय गांधी मामा शकुनी की भांति पांसे फैंक रहे थे। वर्षों से चली आ रही पारिवारिक सत्ता के क्षय का डर इस हद तक था कि पूरे लोकतंत्र का गला घोंटने में जरा भी देर नहीं की। आपातकाल के दौरान 21 महीनों में 11 लाख लोगों को जेल में डाला गया था,उन्हें यातनाए दी गई। कार्यक्रम में विभिन्न बक्ताओं ने आपातकाल की विभीषिका से सभी को अवगत कराया।

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