आज फैसले का दिन, नीतीश कुमार सरकार का मंत्रिमंडल विस्तार संभव
बिहार में 45 दिन पुरानी नीतीश कुमार सरकार में अब तक सीएम समेत कुल नौ मंत्री हैं और 27 मंत्रियों के पद खाली हैं। गुरुवार को शाम में मंत्रिमंडल विस्तार का समय बताया जा रहा है, लेकिन खरमास को देखते हुए यह समय पहले भी हो सकता है।
पटना (आरएनआई) बिहार में मुख्यमंत्री नीतीश कुमार आज मंत्रिमंडल विस्तार कर सकते हैं। शाम पांच बजे का समय बताया जा रहा है, लेकिन दोपहर बाद 2:37 बजे से खरमास को देखते हुए यह समय पहले भी किया जा सकता है। अभी समय पूरे तौर पर पक्का नहीं हो सका है। कर्पूरी ठाकुर को भारत रत्न दिए जाने की घोषणा के बाद बिहार में राजनीतिक घटनाक्रम तेजी से बदला था और 28 जनवरी को मुख्यमंत्री नीतीश कुमार ने महागठबंधन सरकार के सीएम के तौर पर इस्तीफा देने के करीब छह घंटे बाद राष्ट्रीय जनतांत्रिक गठबंधन के मुख्यमंत्री के रूप में शपथ ले ली थी। उनके साथ भारतीय जनता पार्टी के दो उप मुख्यमंत्री सम्राट चौधरी और विजय कुमार सिन्हा ने शपथ ली थी। इसके अलावा, भाजपा कोटे से एक और जनता दल यूनाईटेड के तीन, हिन्दुस्तानी आवाम मोर्चा-सेक्युलर के एक मंत्री ने शपथ ली थी। इकलौते निर्दलीय को भी उसी दिन शपथ दिलाई गई थी। उसके बाद से मंत्रिमंडल विस्तार की चर्चा कई बार उठकर रह गई थी।
बिहार में मंत्रिमंडल विस्तार के पहले राज्यसभा और विधान परिषद् के लिए नेताओं का नाम तय करने में भी लोकसभा चुनाव का सीट बंटवारा मुद्दा था। अब एनडीए के अंदर सीट बंटवारे का प्रारूप बुधवार को फाइनल हो जाने के बाद बताया जा रहा है कि गुरुवार शाम मंत्रिमंडल विस्तार होगा। औपचारिक सूचना नहीं जारी की गई है, क्योंकि खरमास में अमूमन भाजपा नेताओं के साथ ही मुख्यमंत्री नीतीश कुमार भी नए काम से बचते हैं। इस बार खरमास में वैसे भी लोकसभा चुनाव के लिए नामांकन की उम्मीद है, जिसके आधार पर इसे मानने और नहीं मानने पर बहस चल रही है। बिहार मंत्रिमंडल में 36 सदस्य हो सकते हैं। इनमें से सीएम समेत नौ पहले से हैं, इसलिए 27 की वैकेंसी है। आज मंत्रिमंडल विस्तार हुआ भी तो सभी 27 मंत्रियों को शपथ दिलाए जाने की संभावना नहीं है।
मुख्यमंत्री के साथ घटक दलों की बुधवार शाम हुई बैठक में भाजपा के अधिकतम 12 और जदयू के अधिकतम आठ विधायकों-विधान पार्षदों को मंत्रिमंडल में शामिल किए जाने की बात हुई थी। इसी आधार पद पार्टियों में तैयारी चल रही है। जदयू का नाम तो मुख्यमंत्री और पार्टी के राष्ट्रीय अध्यक्ष नीतीश कुमार ने तय कर रखा है, लेकिन भाजपा की सूची दिल्ली मुख्यालय से फाइनल होनी है। उस सूची के साथ अगर समय को लेकर सहमति बन जाती है तो मंत्रिमंडल विस्तार आज ही हो जाएगा। अगर खरमास को लेकर भाजपा में ज्यादा खींचतान नहीं हुई तो सूची बनने में देर की स्थिति में विस्तार का कार्यक्रम शुक्रवार को भी हो सकता है। भाजपा इस मंत्रिमंडल विस्तार में पिछड़ी जातियों और दलितों को तवज्जो देगी, यह माना जा रहा है। दिल्ली से नाम फाइनल होने के कारण बिहार से इस बारे में कोई कुछ बोलने की स्थिति में नहीं।
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