अगस्ता वेस्टलैंड घोटाला : न्यायालय ने बिचौलिये क्रिश्चियन मिशेल को जमानत देने से इंकार किया
उच्चतम न्यायालय ने मंगलवार को अगस्ता वेस्टलैंड हेलिकॉप्टर घोटाला मामले में कथित बिचौलिये क्रिश्चियन मिशेल जेम्स को जमानत देने से इनकार कर दिया। मामले की जांच केंद्रीय अन्वेषण ब्यूरो (सीबीआई) और प्रवर्तन निदेशालय (ईडी) दोनों कर रहे हैं।
नयी दिल्ली, 7 फरवरी 2023, (आरएनआई)। उच्चतम न्यायालय ने मंगलवार को अगस्ता वेस्टलैंड हेलिकॉप्टर घोटाला मामले में कथित बिचौलिये क्रिश्चियन मिशेल जेम्स को जमानत देने से इनकार कर दिया। मामले की जांच केंद्रीय अन्वेषण ब्यूरो (सीबीआई) और प्रवर्तन निदेशालय (ईडी) दोनों कर रहे हैं।
कथित तौर पर 3,600 करोड़ रुपये का यह घोटाला अगस्ता वेस्टलैंड से 12 वीवीआईपी हेलिकॉप्टर की खरीद से संबंधित है। प्रधान न्यायाधीश डी वाई चंद्रचूड़ और न्यायमूर्ति पी एस नरसिम्हा और न्यायमूर्ति जे बी पारदीवाला की पीठ ने कहा कि जेम्स की यह दलील कि उसे इस आधार पर जमानत पर रिहा किया जाए कि उसने मामलों में अधिकतम सजा का आधा हिस्सा काट लिया है, स्वीकार नहीं की जा सकती।
हालांकि पीठ ने कहा कि वह निचली अदालत के समक्ष नियमित जमानत के लिए रुख कर सकता है। जेम्स ने दंड प्रक्रिया संहिता (सीआरपीसी) की धारा 436ए के तहत जमानत का अनुरोध किया, जिसमें कहा गया है कि अगर किसी व्यक्ति ने अपराध के लिए निर्धारित अधिकतम सजा का आधा हिस्सा काट लिया है तो उसे जमानत पर रिहा किया जा सकता है।
अधिवक्ता अल्जो के जोसेफ ने दलील दी कि 2018 में दुबई से प्रत्यर्पण के बाद, जेम्स ने चार साल से अधिक समय जेल में बिताया है, जबकि जिन अपराधों के लिए उसे प्रत्यर्पित किया गया था, उनके लिए निर्धारित अधिकतम सजा सात साल है।
सीबीआई और ईडी की ओर से पेश अतिरिक्त सॉलिसिटर जनरल संजय जैन ने कहा कि मामलों की जांच अभी भी जारी है और ‘लेटर रोगेटरी’ (न्यायिक पत्र) संयुक्त अरब अमीरात, ब्रिटेन और हांगकांग को भेजे गए हैं।
पीठ ने तब जैन से सवाल किया कि जेम्स को कितने समय तक हिरासत में रखा जा सकता है, जबकि जांच अभी भी जारी है, वहीं मामले में आरोपपत्र और पूरक आरोपपत्र दाखिल किए जा चुके हैं।
जेम्स ने 11 मार्च, 2022 के दिल्ली उच्च न्यायालय के उस आदेश को चुनौती दी जिसमें सीबीआई और ईडी दोनों मामलों में उसकी जमानत याचिका खारिज कर दी गई थी। दोनों मामलों में अपनी रिहाई का अनुरोध करते हुए जेम्स ने कहा था कि जांच के लिए उसकी जरूरत नहीं है और उसने जांच में सहयोग करने की इच्छा जताई थी।
सीबीआई ने अपने आरोपपत्र में 55.62 करोड़ यूरो (करीब 3,600 करोड़ रुपये) के 12 वीवीआईपी हेलिकॉप्टर की आपूर्ति के लिए 8 फरवरी, 2010 को हुए सौदे के कारण सरकारी खजाने को 39.82 करोड़ यूरो (करीब 2,666 करोड़ रुपये) का अनुमानित नुकसान होने का आरोप लगाया। ईडी ने जून 2016 में दाखिल अपने आरोपपत्र में आरोप लगाया था कि जेम्स को अगस्ता वेस्टलैंड से तीन करोड़ यूरो (करीब 225 करोड़ रुपए) मिले थे।
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